Saturday, July 5, 2025
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श्रृगेश्वरपुरम धाम मे फैली गदंगी पर मंत्री ने कहाँ जिलाधिकारी से बात करूगाँ

उत्तर प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने आज विश्व के सबसे बड़े धार्मिक, आध्यात्मिक एवं सांस्कृतिक समागम महाकुम्भ-2025 की तैयारियों का जायजा लिया। प्रयागराज में महाकुंभ की तैयारियों का स्थलीय निरीक्षण के तत्पश्चात मंत्री जयवीर सिंह ने सर्किट हाउस में पत्रकार वार्ता को संबोधित किया। उन्होंने कहा,कि ‘महाकुम्भ भारतीय आस्था के स्पंदन का प्रतीक है। राज्य सरकार का प्रयास है कि महाकुम्भ से लौटने वाला प्रत्येक श्रद्धालु एक सुखद अनुभूति लेकर जाए। उन्होंने कहा, सनातन संस्कृति में आस्था रखने वाले लगभग 40 से 50 करोड़ श्रद्धालुओं के इस महाकुम्भ में आने की संभावना है।’

मीडिया को संबोधित करते हुए जयवीर सिंह ने कहा, ‘कुंभ क्षेत्र में श्रद्धालुओं के ठहरने, आने-जाने में कोई कठिनाई न हो इसके लिए समुचित प्रबंध किए गए हैं। केंद्र सरकार एवं राज्य सरकार की योजनाओं का निरीक्षण किया। तैयारियां हमारे मनोनुकूल है। नेत्र चिकित्सालय भी देखा। योगी आदित्यनाथ जी के नेतृत्व में जिस आशा और उम्मीद से महाकुम्भ के लिए कदम बढ़ाया था, सकारात्मक रुख के साथ निरंतर आगे बढ़ रहे हैं। उन्होंने कहा, प्रयागराज शहर में 20 लघु मंचों के माध्यम से प्रदेश की विभिन्न लोक कलाओं, क्षेत्रीय कलाकारों द्वारा 45 दिनों तक भव्य प्रदर्शन किया जाएगा। उन्होंने ये भी कहा कि महाकुम्भ में भव्य ड्रोन शो और लेजर शो भी आयोजित कराया जाएगा, जल्द तारीखों की घोषणा की जाएगी।’
जयवीर सिंह ने बताया, कि ‘महाकुम्भ के दौरान 13 जनवरी से 26 फरवरी तक प्रयागराज देशभर के कलाकारों के संगम का भी अवसर प्रदान करेगा। श्रद्धालुओं के मनोरंजन के लिए विविध विधाओं के शीर्ष कलाकार प्रस्तुति देंगे। महाकुम्भ में भव्यता, दिव्यता एवं अलौकिकता का अनुभव कर सके, इसके लिए तमाम सुविधाएं सुलभ कराई जा रही हैं। उप्र.पर्यटन निगम (यूपीएसटीडीसी) ने पर्यटकों के लिए विभिन्न टूर पैकेज भी तैयार की है। प्रदेश के जागरूक नागरिकों से अपील की है कि सनातन संस्कृति को ऊंचाई पर ले जाने के लिए महाकुम्भ-2025 की ब्रांडिंग एवं मार्केटिंग भी करें।’

मंत्री जयवीर सिंह ने राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में उप्र. पर्यटन विभाग की ओर से पांच एकड़ में यूपी स्टेट पवेलियन की स्थापना की जा रही है, जिसमें कुल 12 सर्किट को प्रदर्शित किया जाएगा। वृहद मानचित्र पर थ्री-डी तकनीक के माध्यम से अयोध्या, काशी, मथुरा, प्रयागराज, कुशीनगर, सारनाथ, नैमिषारण्य सहित अन्य महत्वपूर्ण स्थलों को दर्शाया जाएगा।’ श्रृगेश्वरपुर धाम मे अव्यवस्था तथा गदंगी पर जबाब देते हुए कहाँ कि जिलाधिकारी से बात करूँगा ।

उप्र. पर्यटन विभाग की विशेष सचिव पर्यटन ईशा प्रिया ने महाकुम्भ से जुड़ी हर छोटी-बड़ी जानकारी की विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने बताया कि महाकुम्भ-2025 से संबंधित समस्त जानकारियों के लिए वेबसाइट एवं ऐप बनाया गया है। 990 पर्यटन स्कॉर्ट्स गाइड, 1500 वेंडर्स की ट्रेनिंग कराई गई है। 1000 टैक्सी-ऑटो ड्राइवर और 600 नाविकों को स्टोरी टेलिंग का विशेष प्रशिक्षण दिया गया है। ये सभी श्रद्धालुओं/पर्यटकों को कुंभ की कथा सुनाएंगे। उन्होंने बताया, कुंभ में क्या करें, क्या न करें इसके लिए एक पत्रिका तैयार की गई है। निःशुल्क मिलने वाली पत्रिका सभी पर्यटन केंद्रों पर आगंतुकों के लिए उपलब्ध होगी। इसी तरह विभाग ने पर्यटकों के लिए मैप, ‘द फेथ’, बुकलेट आदि की व्यवस्था की गई है। भारत की समस्त भाषाओं में बुकलेट उपलब्ध होगी, ताकि अन्य प्रान्त से आने वालों को कोई दिक्कत न हो। ऐप के जरिए पर्यटक/श्रद्धालु आसपास के पर्यटन स्थलों की जानकारी भी ले सकते हैं। उन्होंने कहा, ओडीओपी के तहत स्टॉल लगाए जाएंगे। इसी प्रकार, ग्रामीण महिलाओं द्वारा निर्मित वस्तुओं के माध्यम से रूरल टूरिज्म को भी प्रमोट करेंगे। विशेष जानकारी मेला सेंटर से ली जा सकती है। श्रृगेश्वरपुर धाम मे गदंगी और अब्यवस्था के सवाल पर जबाब देते हुए कहाँ सही करा लेगें ।

उ0प्र0 पर्यटन निगम (यूपीएसटीडीसी) की एमडी सुश्री सान्या छाबड़ा ने पर्यटन निगम द्वारा मेले में की गयी तैयारियों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि, ‘यूपीएसटीडीसी ने विभिन्न पैकेज तैयार किए हैं जिसकी जानकारी संबंधित वेबसाइट पर उपलब्ध है। श्रद्धालु ऑनलाइन गाइड की बुकिंग कर सकते हैं। यह सुविधा मेला सेंटर पर भी उपलब्ध होगी। भारत सरकार संस्कृति मंत्रालय की ओर से कला ग्राम बसाया गया है। टेंट सिटी में भी सभी सुविधाएं उपलब्ध करवायी गई है। उन्होंने बताया, रेलवे, हवाई अड्डे या अन्य सड़क मार्ग से आने वाले श्रद्धालुओं के लिए यातायात आदि की सुविधा होगी। योग, मेडिटेशन सेंटर के साथ-साथ हेलीकॉप्टर जॉयराइड की भी सुविधा दी जा रही है। 7-8 मिनट की हेलीकॉप्टर सवारी के लिए 3000 रुपए देने होंगे। ‎

 

 

Anveshi India Bureau

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