Prayagraj Sangam Flood : गंगा और यमुना का पानी शुक्रवार देर रात बस्तियों में घुस गया। इसकी चपेट में एक दर्जन से अधिक मोहल्लों के सैकड़ों घर आ गए हैं। दोनों नदियों के जलस्तर में बढ़ोतरी का क्रम लगातार जारी है। इससे बाढ़ का दायरा भी बढ़ता जा रहा है। गंगा यमुना का जलस्तर रविवार को खतरे के निशान के करीब पहुंच गया है। उफनाई नदियां खतरे के निशान के करीब एक मीटर नीचे बह रही हैं। बस्तियों में हाहाकार मचा हुआ है।
Prayagraj Flood News : गंगा और यमुना का पानी शुक्रवार देर रात बस्तियों में घुस गया। इसकी चपेट में एक दर्जन से अधिक मोहल्लों के सैकड़ों घर आ गए हैं। दोनों नदियों के जलस्तर में बढ़ोतरी का क्रम लगातार जारी है। इससे बाढ़ का दायरा भी बढ़ता जा रहा है। इसके चलते कछारी इलाके में बसे लोगों की चिंता बढ़ गई है। दोनों नदियों का जलस्तर 83 मीटर के करीब पहुंच गया है। सिंचाई विभाग की शनिवार शाम चार बजे की रिपोर्ट के अनुसार नैनी में यमुना का जलस्तर 82.79 और फाफामऊ में गंगा का जलस्तर 82.84 मीटर तक पहुंच गया है। गंगा यमुना का जलस्तर रविवार को खतरे के निशान के करीब पहुंच गया है। उफनाई नदियां खतरे के निशान के करीब एक मीटर नीचे बह रही हैं। बस्तियों में हाहाकार मचा हुआ है। खतरे का निशान 84.73 है, जबकि गंगा और यमुना 83 मीटर के ऊपर बह रही हैं।
दोनों नदियों के जलस्तर का खतरे का निशान 84.73 मीटर है। शुक्रवार देर रात को अशोक नगर, नेवादा, द्रौपदी घाट के निचले इलाके की बस्तियों में पानी घुस गया। छोटा बघाड़ा में शिवालय मंदिर के आसपास के सैकड़ों घर बाढ़ की चपेट में आ गए हैं। इन क्षेत्रों के खाली प्लॉटों के अलावा घरों के बेसमेंट में पानी भर गया है। कछार में भीतर जाकर मकान बनाने वालों का आधा तल डूब गया है और लोग पलायन करने व सामान हटाने को मजबूर हो गए हैं। छोटा बघाड़ा में बख्शी बांध, नागवासुकि मंदिर घाट की तरफ के सैकड़ों मकान भी बाढ़ की चपेट में आ गए हैं। सड़क पर पानी भरने से बस्ती के लोगों का आवागमन ठप हो गया है।





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