Tuesday, July 8, 2025
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डॉ. कुमार विश्वास बोले : पत्थर को प्राणवान करने का कौशल भारत में है, महाकुंभ के वैभव का किया बखान

कथा के दौरान कुमार विश्वास ने धर्म निरपेक्षता का राग अलापने वालों और सीएम योगी के वेशभूषा पर सवाल उठाने वालों को आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि किसी भी राज्य का राजा या मुखिया न तो कर्म निरपेक्ष होना चाहिए और न ही धर्म निरपेक्ष। उसे अपने धर्म की रक्षा करनी होगी।

सीता के रघुनाथ, लखन के भैया सुख के धाम मिलेंगे, हनुमान के हरि, जगत के त्राता आठों याम मिलेंगे, रामभद्र शबरी के, केवट के रघुनंदन मिल जाएंगे, चले आओ इस जगह सभी को अपने-अपने राम मिलेंगे… सुना कवि डॉ. कुमार विश्वास ने मंगलवार को कथा का रसपान कराया। मौका था नंदी सेवा संस्थान की ओर से चैथम लाइंस में आयोजित तीन दिवसीय अपने-अपने राम के आगाज का। कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल गुप्ता नंदी और पूर्व महापौर अभिलाषा गुप्ता ने कवि कुमार विश्वास का स्वागत किया।

कवि ने कहा कि भारतीय पौराणिक की वैज्ञानिकता, तथ्यात्मकता व तर्कशीलता विश्वभर के युवाओं तक पहुंचाना ही अपने-अपने राम का उद्देश्य है। गंगा धरा के पाप तारण के लिए प्रकृति की कोख से उतरी हैं। कुमार विश्वास ने संगम क्षेत्र का भ्रमण किया। वहां की व्यवस्थाओं व सुविधाओं को देख कर कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन और सीएम योगी के नेतृत्व में महाकुंभ दिव्य व भव्य ही नहीं, बल्कि अद्भुत होने जा रहा है।

कथा के दौरान कुमार विश्वास ने धर्म निरपेक्षता का राग अलापने वालों और सीएम योगी के वेशभूषा पर सवाल उठाने वालों को आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि किसी भी राज्य का राजा या मुखिया न तो कर्म निरपेक्ष होना चाहिए और न ही धर्म निरपेक्ष। उसे अपने धर्म की रक्षा करनी होगी।कहा कि पूरे विश्व में भारत ही ऐसा देश है, जिसमें पत्थर को भी प्राणवान करने का कौशल है। कहा कि मूर्तिकार अरुण योगीराज ने तो भगवान राम की मूर्ति बनाई थी। लेकिन, प्राण प्रतिष्ठा के बाद प्रभु श्री राम का विग्रह प्रभु श्री राम में परिवर्तित हो गया। भारत पत्थर में प्राण डालने में लगा है, वहीं पश्चिम प्राण को पत्थर बना रहा है।

नागा साधुओं की हत्या करने वाले का नाम रखने पर सवाल न उठाऊं तो क्या करूं

 

सनातन धर्म और संस्कृति पर सवाल उठाने वालों पर निशाना साधते हुए कुमार ने कहा कि जिस बाहरी ने हजारों मंदिर ढहाए, 5000 नागा साधुओं की हत्या की, उसके नाम पर बच्चों का नाम रखने वालों पर सवाल करने पर डराया जाता है। लेकिन, मैं डरने वाला नहीं हूं। पूरे भारत में एक भी गुरुद्वारा, मंदिर, जैन मंदिर बता दें, जिसे किसी धर्मस्थल को तोड़ कर बनाया गया हो। मस्जिदें तुमने मंदिरों को तोड़ कर बनाईं।

 

निराला और उमाकांत मालवीय जी को किया नमन

कुमार विश्वास ने अपने-अपने राम मंच से सूर्यकांत त्रिपाठी निराला जी और पंडित उमाकांत मालवीय की रचनाओं को पढ़ते हुए उन्हें नमन किया। कहा कि निराला जी ने अपनी रचना में लिखा है वह तोड़ती पत्थर, देखा मैंने उसे इलाहाबाद के पथ पर, वह तोड़ती पत्थर। वहीं, नवगीत आंदोलन के उन्नायकों में एक उमाकांत मालवीय को नमन किया। उन्होंने निषादराज को भी नमन किया। कहा कि प्रभु राम के मित्र होने का परम सौभाग्य निषाद राज को प्राप्त हुआ।

 

 

Courtsyamarujala.com

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