आने वाले दिनों में अरब देश के लोग भी गंगापार की भिंडी का स्वाद चखेंगे। इसके लिए किसान भिंडी के निर्यात की तैयारी कर रहे हैं। यह भिंडी दुबई, बहरीन, सऊदी अरब अमीरात, मलयेशिया और जर्मनी में भी निर्यात की जाएगी।
उनकी यह मुहिम सफल हुई। उमेश पटेल ने बताया कि पहली बार किसानों के घर से ही 1800 से 1900 रुपये प्रति क्विंटल की दर से पैकेजिंग कर भिंडी को दुबई भेजा गया था। इसके बाद से हर साल डिमांड बढ़ती गई। अब तो यहां के किसान केवल भिंडी की खेती से ही लाखों रुपये कमा रहे हैं। नैनी शुआट्स के कृषि वैज्ञानिकों की निगरानी में उन्नत खेती को लेकर किसानों को प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है।

मुनाफा अच्छा मिलने से किसानों का उत्साह हुआ दोगुना
किसान जंग बहादुर पटेल, तेज प्रताप, सूर्य प्रताप, लालचंद्र, प्रकाश चंद्र , रामकृपाल पटेल, आशुतोष पटेल, राधेश्याम वर्मा, गुलाब गौतम, हरिनाथ बिंद, और हैदर अली बताते हैं कि प्रति माह 90 से 100 क्विंटल भिंडी दुबई में निर्यात की जा रही है। उमेश पटेल ने बताया कि जल्द ही बहरीन, सऊदी अरब अमीरात और जर्मनी में भी हमारे यहां की भिंडी निर्यात की जाएगी। इसकी कीमत 25 से 40 रुपये प्रति किलो रखी गई है। इससे किसानों को लागत कम और मुनाफा अधिक हो रहा है। किसान उमेश पटेल ने बताया विदेश से उन्हें करेला, बैगन, गोभी, मिर्च, मटर आदि का भी आर्डर दिया गया है।

मई से नवंबर तक की जाती है भिंडी की सप्लाई
किसान उमेश पटेल ने बताया कि मई से लेकर नवंबर तक भिंडी का निर्यात अरब के देशों में किया जाता है। भिंडी को वाया वाराणसी, लखनऊ, मुंबई होते हुए दुबई भेजा जाता है। एक बाक्स में तकरीबन साढ़े चार किलो भिंडी की पैकिंग की जाती है। छह माह में तकरीबन 550 क्विंटल भिंडी का निर्यात अरब देश में किया जाता है।
इस बार कई किस्मों की भिंडी का होगा निर्यात
इस बार भिंडी की किस्में भी बढ़ाई जा रही हैं। उमेश पटेल के अनुसार इस बार भिंडी की राधिका, मिस ओकरा, नबिया और सौंदर्या के किस्म की बुआई की जा रही है। मई के प्रथम सप्ताह से अरब देशों में भिंडी का निर्यात शुरू कर दिया जाएगा।