वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों में कई ऐसे मामले संज्ञान में आये हैं कि यात्री को छोड़ने आये उसके साथी ट्रेन में चढ़ गये और दरवाजा बंद हो गया। ऐसी दशा में ट्रेन के अगले ठहराव वाले स्टेशन पर ही उतरने को मिलता है और यात्री के साथी को जुर्माना देना पड़ता है। ज्ञात हो कि, देश की अत्याधुनिक सुविधाओं वाली वंदे भारत एक्सप्रेस का प्रयागराज मण्डल के विभिन्न स्टेशनों जैसे प्रयागराज जंक्शन, कानपुर सेंट्रल स्टेशन, इटावा पर ठहराव दिया गया है।
इन अत्याधुनिक ट्रेनों को सुविधाजनक बनाने के लिये आधुनिक तकनीकों से लैस किया जाता है। इन्ही तकनीकी सुविधाओं के अंतर्गत वंदे भारत ट्रेनों में अतिरिक्त सुरक्षा के दृष्टिगत स्वचालित दरवाजे लगाये गये हैं। यह दरवाजे गाड़ी के स्टेशन पर रुकने के बाद स्वतः ही खुलते हैं और चलने के कुछ समय पूर्व स्वतः ही बंद हो जाये हैं और इसके बारे में ट्रेन में उद्घोषणा भी की जाती है। वंदे भारत गाड़ियों के दरवाजे इसके बाद अगले ठहराव स्टेशन पर ही खुलते हैं । वंदे भारत गाड़ियों में टिकट चेकिंग के दौरान अगर कोई व्यक्ति बिना टिकट पाया जाता है तो उस पर नियमानुसार पेनाल्टी शुल्क वसूल किया जाता है । यात्रियों को वंदे भारत में यात्रियों को चढ़ाते और बिठाते समय सभी लोगों को ध्यान में रखना चाहिए कि इस गाड़ी के स्वचालित दरवाजे एक बार बंद होने के बाद दोबारा अगले स्टेशन पर ही खुलते हैं।
इस संबंध मे पुन: सभी सम्मानित यात्रियों से अनुरोध है कि, कृपया रेल नियमों का पालन करें और वंदे भारत ट्रेनो में चढ़ कर किसी को ना छोड़ें।
Anveshi India Bureau